सोराइसिस , एक्ज़िमा , दाद , खुजली , शीतपित्त , एलर्जी , फोड़े ,फुंसी आदि त्वचा सम्बंधित रोगों से पाएं छुटकारा … जानिए कैसे

त्वचा सम्बंधित रोगों से पाएं छुटकारा … जानिए कैसे

त्वचा सम्बन्धी रोग ऐसे रोग होते हैं जो किसी भी उम्र के व्यक्ति को हो सकते हैं जिनमें से कुछ रोग हैं- सोराइसिस , एक्ज़िमा , दाद, खुजली, शीतपित्त , एलर्जी , फोड़े ,फुंसी आदि | ये रोग त्वचा में होने वाली आम बीमारियाँ हैं । आयुर्वेद ने इन समस्याओं को दूर करने के लिए हमें बहुत सी औषधियाँ उपहार में दी हैं जो इन त्वचा रोगों से छुटकारा दिलाने के लिए हमारे विशेष मददगार हो सकती हैं। आइये जानते हैं इन औषधियों के बारे में |

 

कैसे पाएं त्वचा रोगों से छुटकारा .. जानिये

मेंहदी और नीम का इस्तेमाल करें :- मेंहदी और नीम के पत्तों को पीसकर प्रभावित त्वचा पर लगाने से आराम मिलता है । इसके अतिरिक्त 3-4 ग्राम मेंहदी और नीम के पत्ते उबालकर प्रभावित त्वचा को धोना भी एक अच्छा उपाय माना जाता है |

 

करेले के रस का सेवन करें :- करेला हमारे शरीर के लिए एक रक्तशोधन का काम करता है । करेले के रस के साथ नीम के पत्तों का रस मिलाकर प्रभावित त्वचा की मालिश करने से आराम मिलता है । करेले के रस के स्थान पर करेले के पत्तों का रस भी इस्तेमाल किया जा सकता है।

 

सदाबहार की पत्तियों का इस्तेमाल करें :- यदि आपको फोड़े फुन्सी हो गए हैं तो सुबह खाली पेट सदाबहार के दो तीन पत्ते चबाकर पानी पीये । ऐसा कुछ दिन करते रहने से फोड़े फुंसी ठीक हो जाते हैं| पत्ते चबा न सकें तो पत्तों की गोली सी बनाकर पानी के साथ निगल लें ।

 

गंभारी के फल का इस्तेमाल करें :- यदि आपको शीतपित्त हो रही है तो गंभारी का फल और मिश्री बराबर मात्रा में मिलाकर सुबह शाम 5 -5 ग्राम की मात्रा में सेवन करें । यदि झाइयाँ या कील मुँहासे हों तो 5 ग्राम गंभारी की छाल और 5 ग्राम नीम की छाल को 200 गाम पानी में उबालकर, एक चौथाई रहने तक उबालें और बाद में यह काढ़ा पी लें । ऐसा कुछ दिन करते रहने से कील मुँहासे , झाइयों आदि से तो राहत मिलती और साथ ही पेट भी साफ़ हो जाता है ।

 

रुद्रवंती का इस्तेमाल करें :- सोराइसिस जैसी बीमारियों में कायाकल्प के साथ रुद्रवंती मिलाकर काढ़ा बनाया जाए तो यह विशेष लाभ देता है । त्वचा पर एलर्जी इत्यादि में भी यह बेहद लाभदायक है परन्तु इसके लिए थोड़ा नमक का परहेज करना चाहिए ।

 

पलाश का इस्तेमाल करें :- पलाश के पत्तों को पीसकर और उसका शरबत बनाकर पीते रहने से त्वचा के रोगों में आराम आता है ।

 

वरुण का इस्तेमाल करें :- वरुण एक रक्तशोधक औषधि है जो खाज, खुजली की बीमारी से मुक्ति दिलाने में मादा करती है | इसकी 3 ग्राम पत्तियों का काढ़ा या शरबत पीने से त्वचा और शरीर के अन्दर होने वाली खुजली ठीक हो जाती है । इसके फूल और कोमल पत्तियों को सुखाकर उसके 3 ग्राम पाउडर की चाय का सेवन करने से त्वचा सम्बन्धी कोई रोग नहीं रहते।

 

रतनजोत का इस्तेमाल करें :- रतनज्योत का तेल प्रभावित त्वचा पर लगाने से आराम मिलता है । इसकी जड़ , नीम, और कत्था यानि खैर की लकड़ी को कूटकर , पानी में उबालकर काढ़ा बनाकर पीने से त्वचा सम्बन्धी रोगों में आराम आता है । परन्तु ध्यान रहे कि रतनज्योत की जड़ का ज्यादा सेवन न करें वरना उल्टी दस्त हो सकते हैं ।

Psoriasis Best Ayurvedic treatment in Punjab, India – Ayur-Sudha

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